कानपुर से संचालित होनेवाले मिदास टच इनवेस्टर एसोसिएशन को भी दिल्ली हाईकोर्ट ने सेबी के कंसेट ऑर्डर के खिलाफ दायर जनहित याचिका (पीआईएल) में पक्षकार बना लिया है। हाईकोर्ट ने मंगलवार को इस पर फैसला करने के बाद पूंजी बाजार नियामक संस्था, सेबी को नोटिस जारी कर दिया है। मालूम हो कि सेबी की कंसेंट ऑर्डर व्यवस्था की संवैधानिक वैधता को चुनौती देते हुए पिछले साल अक्टूबर में दिल्ली हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की गई है।औरऔर भी

धंधा करनेवालों से कभी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता या लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा की उम्मीद नहीं की जा सकती। इसे साबित कर दिया है इंटरनेट की दुनिया की दो दिग्गज हस्तियों गूगल और फेसबुक ने। समाचार एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक सर्च इंजिन गूगल और सोशल नेटवर्किंग फर्म फेसबुक ने कोर्ट द्वारा ‘चीन जैसी कार्रवाई’ की चेतावनी मिलने के बाद भारतीय डोमेन की वेबसाइटों ने कुछ ‘आपत्तिजनक’ सामग्री हटा ली है। ये दोनों उन 21 कंपनियोंऔरऔर भी

2जी स्पेक्ट्रम आवंटन घोटाले में फंसी पांच कॉरपोरेट हस्तियों को सुप्रीम कोर्ट की ओर से जमानत मिल गई है। बुधवार को देश की सर्वोच्च अदालत ने पांच-पांच लाख रुपये के दो मुचलकों पर इन आरोपियों को रिहा करने का आदेश दिया। जमानत पानेवाले पांच आरोपी अधिकारी हैं – स्‍वान टेलिकॉम के विनोद गोयनका, यूनिटेक वायरलेस के संजय चंद्रा और रिलायंस अनिल धीरूभाई अंबानी समूह के गौतम दोशी, सुरेंद्र पिपारा और हरि नायर। ये आरोपी पिछले सात महीनेऔरऔर भी

दिल्ली हाईकोर्ट के सामने हुए विस्फोट की जिम्मेदारी पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन हरकत-उल-जिहाद इस्लामी (हूजी) ने ले ली है। लेकिन माना जा रहा है कि यह अदालत को चुप कराने की कोशिश है जिसके पीछे देश की भी कुछ राजनीतिक ताकतों का हाथ हो सकता है। गौरतलब है कि अदालतों की सक्रियता के चलते ही इस समय ए राजा से लेकर सुरेश कलमाडी, जनार्दन रेड्डी और अमर सिंह जैसे नेताओं को तिहाड़ जेल की सलाखों के पीछेऔरऔर भी

सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया है कि सरकार से रियायती कीमत पर मिली जमीन पर निर्मित निजी अस्पतालों को समाज के कमजोर तबके को मुफ्त इलाज मुहैया कराना ही होगा और वे इस संबंध में अपनी जिम्मेदारी से बच नहीं सकते हैं। न्यायमूर्ति आर वी रवींद्रन और ए के पटनायक की खंडपीठ ने गुरुवार को निजी क्षेत्र के इन अस्पतालों से कहा है कि उन्हें अपने बाह्यरोगी विभाग (ओपीडी) में कमजोर वर्ग के 25 फीसदी लोगों काऔरऔर भी

दिल्ली हाईकोर्ट ने 2जी स्पेक्ट्रम घोटाला मामले में यूनिटेक के प्रबंध निदेशक संजय चन्द्रा और रिलायंस अनिल धीरूभाई अंबानी समूह के प्रबंध निदेशक गौतम दोशी समेत विभिन्न कंपनियों के पांच बड़े अधिकारियों की जमानत की याचिका सोमवार को खारिज कर दी। इनमें डीबी रीयल्टी के प्रवर्तक विनोद गोयनका और रिलायंस अनिल धीरूभाई अंबानी समूह के अधिकारी हरि नायर और सुरेन्द्र पिपारा की अर्जी भी शामिल हैं। ये सभी आरोपी 20 अप्रैल से जेल में हैं। न्यायमूर्ति अजितऔरऔर भी

सरकारी रवैये से किसी कंपनी का क्या हश्र हो सकता है इसका एक और उदाहरण सामने आया है। कानूनी बाधाओं के कारण दूरसंचार मंत्रालय पिछले करीब दो साल से सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनी भारत संचार निगम लिमिटेड (बीएसएनएल) में वित्त निदेशक की नियुक्त नहीं कर सका है। कंपनी का कारोबार 30,000 करोड़ रुपए सालाना से अधिक है। दिल्ली हाईकोर्ट ने इस नियुक्ति पर रोक लगा रखी है। दूरसंचार मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों ने इस बारे मेंऔरऔर भी

एस्सार स्टील द्वारा सरकार के फैसले के खिलाफ दायर याचिका पर फिलहाल दिल्ली हाईकोर्ट ने स्टे या स्थगन देने से इनकार कर दिया है। इससे एस्सार स्टील के गैस आपूर्ति बहाल रखने के प्रयासों को झटका लगा है। बता दें कि सरकार ने रिलायंस इंडस्ट्रीज के कृष्णा गोदावरी बेसिन स्थित डी-6 ब्लॉक से गैर-प्राथमिक श्रेणी के संयत्रों को गैस आपूर्ति रोक दी है। एस्सार स्टील ने सरकार के इस फैसले को दिल्ली हाईकोर्ट में चुनौती  दे रखीऔरऔर भी

सुप्रीम कोर्ट ने मशहूर इंजीनियरिंग व कंस्ट्रक्शन कंपनी लार्सन एंड टुब्रो की उस याचिका को खारिज कर दिया है जिसमें उसने 1300 करोड़ रुपए के सरकारी टेंडर में अपनी बोली को खारिज किए जाने को चुनौती दी थी। सरकार ने यह टेंडर 20 समुद्री गश्ती पोतों (ऑफशोर पैट्रोल वेसेल) बनाने के लिए निकाला था। गुरुवार को सुनाए गए आदेश में न्यायमूर्ति अल्तमास कबीर की अध्यक्षता वाली पीठ ने दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले को सही ठहराया। हाईकोर्ट नेऔरऔर भी

सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुनाया है कि दिल्ली और मुंबई के हवाई अड्डों को विकसित कर रही निजी क्षेत्र की कंपनियां घरेलू व अंतरराष्ट्रीय यात्रियों से एयरपोर्ट विकास शुल्क (एडीएफ) नहीं वसूल सकतीं। बता दें कि दिल्ली हवाई अड्डे का विकास व प्रबंधन जीएमआर इंफ्रास्ट्रक्चर और मुंबई एयरपोर्ट का विकास व प्रबंधन जीवीके पावर एंड इंफ्रास्ट्रक्चर द्वारा प्रवर्तित कंपनियों के हवाले कर दिया गया है। सुप्रीम कोर्ट में न्यायाधीश सिरियाक जोसेफ और न्यायाधीश ए के पटनायक कीऔरऔर भी