हफ्ते भर पहले दीपक कुमार ने अफसोस जताया था कि वे तान्ला सोल्यूशंस (बीएसई कोड-532790) में फंस गए हैं। यह शेयर लगातार गिर रहा है। लेकिन मैंने देखा कि शुक्रवार को एक रुपए अंकित मूल्य का यह शेयर अचानक लगभग 6% बढ़कर 30.35 रुपए पर पहुंच गया है। कंपनी ने ठीक हफ्ते भर पहले 2 अगस्त को घोषित किया था कि उसने एमटीएनएल के 3जी स्पेक्ट्रम में वॉयस मेल सर्विस देने का अनुबंध किया है। तान्ला सोल्यूशंसऔरऔर भी

कल माइक्रोसॉफ्ट के अच्छे नतीजों ने अमेरिकी बाजार को टॉप गियर में पहुंचा दिया। लेकिन आज सुबह से ही ईमेल आने शुरू हो गए कि स्पेन के 18 बैंक स्ट्रेस टेस्ट (प्रतिकूल हालात से निपटने की क्षमता की परीक्षा) में फेल हो गए हैं। चेतावनी दी गई कि मेटल सेक्टर गिरनेवाला है। ऐसी तमाम सारी हाय-हाय मचाई गई। आप अच्छी तरह समझ लें कि ये सब मंदड़ियों की कुंठा व हताशा है जो इस तरह की खबरोंऔरऔर भी

इस समय पूंजी बाजार से रिटेल निवेशक या आम निवेशक कन्नी काट चुके हैं। सेकेंडरी बाजार या शेयर बाजार में उनका निवेश लगभग सूख चुका है। दूसरी तरफ, जो प्राइमरी बाजार कुछ साल पहले तक आम निवेशकों का पसंदीदा माध्यम बना हुआ था, वहा भी अब आईपीओ (शुरुआती पब्लिक ऑफर) व एफपीओ (फॉलो-ऑन पब्लिक ऑफर) में लोगबाग पैसे नहीं लगा रहे हैं। लगाएं भी तो कैसे। कमोबेश हर आईपीओ या एफपीओ लिस्ट होने के बाद इश्यू मूल्यऔरऔर भी

मैंने आपसे बोला था कि ओएनजीसी एक ही सत्र में 100 रुपए बढ़ जाएगा और प्राकृतिक गैस के मूल्य (एपीएम) पर सरकार के फैसले ने ऐसा कर दिखाया। ओएनजीसी का शेयर बीएसई में 112.50 रुपए तक बढ़ गया। हालांकि बंद हुआ 89.70 रुपए बढ़कर 1118.20 रुपए पर। बढ़ती अनिश्चितता के बीच भी निवेशक बने रहना बहादुरी का काम है। असल में समझदार लोगों को ऐसे दौर में खरीद करनी और बढ़ानी चाहिए। दिक्कत है कि शेयर बाजारऔरऔर भी