दुनिया भर के वित्तीय बाज़ारों का केंद्र अमेरिका है। दुनिया की हर बड़ी-छोटी मुद्रा की संदर्भ मुद्रा अमेरिकी डॉलर है, भले ही वह बिटिश पाउंड हो या यूरोप का यूरो हो, जापान का येन हो, इंडोनेशिया का रुपैया हो या भारत का रुपया। अपना रुपया तो डॉलर के मुकाबले कमज़ोर होता-होता 81 रुपए तक जा पहुंचा है। हालांकि यूरो के मुकाबले वो मजबूत होकर 82 से 79 रुपए हो गया है। लेकिन इस तरह मुद्रा के डावांडोलऔरऔर भी