उड़ते राज्यों के पंख कुतरने की साजिश

अर्थनीति जब राजनीति की सेवा का साधन बन जाए तो आर्थिक उन्नति व विकास के सारे वादे खोखले नारे बन जाते हैं। देश के जो राज्य आज केंद्र की राजनीति में हाशिए पर हैं, वे प्रति व्यक्ति आय के मामले में सबसे ऊपर है। दरअसल, उन्होंने शिक्षा से लेकर स्वास्थ्य व जनसंख्या नियंत्रण में शानदार काम किया है। इस समय जहां देश की प्रति व्यक्ति आय 2698 डॉलर है, वहीं तेलंगाना की प्रति व्यक्ति आय 4306 डॉलर, कर्ऩाटक की 4021 डॉलर, तमिलनाडु की 3807 डॉलर, केरल की 3221 डॉलर और आंध्र प्रदेश की 2516 डॉलर है। भारत अभी तक विश्व बैंक के पैमाने से निम्न-मध्यम आय वाला देश है, जबकि दक्षिण के ये राज्य जल्दी ही उच्च-मध्यम आय के देश बन सकते हैं क्योंकि इसका पैमाना 4516 डॉलर का है। इसमें से आंध्र प्रदेश की प्रति व्यक्ति आय राष्ट्रीय औसत से कम है। लेकिन जनसंख्या नियंत्रण में दक्षिण के इन सभी राज्यों ने कुल प्रजनन दर (टीएफआर) को 2 से नीचे लाकर शानदार काम किया है, जबकि उत्तर प्रदेश, बिहार, राजस्थान व मध्य प्रदेश 2 से ऊपर 3 तक टीएफआर पर आबादी बढ़ाए जा रहे हैं। दुखद यह है कि परिसीमन के नाम पर लोकसभा में दक्षिण के राज्यों का प्रतिनिधित्व घटाया जा रहा है। अब बुधवार की बुद्धि…

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