टेक्नोक्राफ्ट इंडस्ट्रीज। आईआईटी मुंबई के दो इंजीनियरों द्वारा 1972 में बनाई गई कंपनी। भारत सरकार से मान्यता प्राप्त 3-स्टार एक्सपोर्ट हाउस। 95 फीसदी आय निर्यात से। दुनिया भर में ड्रम क्लोजर की दूसरी सबसे बड़ी निर्माता। अमेरिका से लेकर जर्मनी व चीन तक विस्तार। शेयर का भाव 52 हफ्तों की तलहटी 45.45 रुपए पर। बंद हुआ 45.95 रुपए पर, जबकि बुक वैल्यू ही है 131.45 रुपए। कंपनी का ठीक पिछले बारह महीनों का ईपीएस (प्रति शेयर लाभ)औरऔर भी

बाजार में क्या मंदड़िए, क्या तेजड़िए, सभी दुविधा में हैं। किसी को अंदाज नहीं है कि बाजार आगे कौन-सी दिशा पकड़ने जा रहा है। बीएसई में कैश बाजार में रोज का औसत वोल्यूम 2600 करोड़ रुपए और एनएसई में 8800 करोड़ रुपए पर आ चुका है। डेरिवेटिव सौदों में बीएसई में तो कुछ होता है नहीं, एनएसई तक में कारोबार घटकर 70,000 करोड़ रुपए के नीचे जाने लगा है। दिन के दिन यानी इंट्रा-डे कारोबार में होनेवालेऔरऔर भी

देश के सबसे पुराने स्टॉक एक्सचेंज बीएसई (बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज) ने मोबाइल पर शेयरों की ट्रेडिंग शुरू करने में सबसे बड़े स्टॉक एक्सचेंज एनएसई (नेशनल स्टॉक एक्सचेंज) से बाजी मार ली है। उसने मंगलवार पर मोबाइल आधारित ट्रेडिंग की शुरुआत कर दी और पहले ही दिन तीस प्रमुख ब्रोकर फर्मों ने उसकी सेवा को अपना लिया है। इसमें शेयरखान, जेएम फाइनेंशियल, एनाम सिक्यूरिटीज, एसटीसीआई कैपिटल, एसएमसी ग्लोबल, एंजेल ब्रोकिंग, मारवाड़ी शेयर्स, मोतीलाल ओसवाल, ज़ेन सिक्यूरिटीज, जेपी कैपिटल,औरऔर भी

भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) ने साल 2003 से 2005 के दौरान हुए आईपीओ घोटाले में ब्रोकर फर्म व डीपी (डिपॉजिटरी पार्टिसिपेंट) मोतीलाल ओसवाल सिक्यूरिटीज को एक कंसेंट ऑर्डर के तहत बरी कर दिया है। यह कंसेंट ऑर्डर पारित तो 6 मई को हुआ था, लेकिन इसे सार्वजनिक सोमवार 10 मई को किया गया। मोतीलाल ओसवाल सिक्यूरिटीज के खिलाफ सेबी की कार्यवाही अप्रैल 2006 से ही चल रही थी। लेकिन जनवरी 2010 में ब्रोकर फर्म नेऔरऔर भी