शेयर बाज़ार सस्ता है या महंगा, इसका एक प्रमुख पैमाना है बाज़ार पूंजीकरण और देश के जीडीपी का अनुपात। अभी हमारा बाज़ार पूंजीकरण 255.58 लाख करोड़ रुपए है जबकि जीडीपी 209.08 लाख करोड़ रुपए तो दोनों का अनुपात 122.24% निकला। इसका लंबे समय का औसत लगभग 80% है तो बाज़ार 52% से ज्यादा महंगा है। दूसरे, सेंसेक्स का पी/ई अनुपात अभी 30.33 गुना है, जबकि उसका लंबे समय का औसत 20.22 गुना है। इस पैमाने से भी बाज़ार 50% से ज्यादा महंगा है। ऐसे में क्या बाज़ार कभी भी धराशाई हो सकता है? कुछ नहीं कहा जा सकता। दरअसल, अतीत से वर्तमान का निष्कर्ष निकालना सही नहीं होगा क्योंकि इस समय देशी-विदेशी धन का अजस्र प्रवाह बाजार को चढ़ाए हुए है। अब तथास्तु में आज की कंपनी…
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