नए वित्त वर्ष 2012-13 का आम बजट 16 मार्च को पेश किया जाएगा। रेल बजट 14 मार्च को पेश होगा, जबकि आर्थिक समीक्षा 15 मार्च को संसद में पेश की जाएगी। मंगलवार को राजनीतिक मामलों की कैबिनेट समिति में यह तय किया गया।
वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी की अध्यक्षता में संपन्न हुई इस बैठक के फैसलों की जानकारी देते हुए संसदीय कार्य मंत्री पवन कुमार बंसल ने मीडिया को बताया कि बजट सत्र 12 मार्च को राष्ट्रपति प्रतिभा पाटील के अभिभाषण से शुरू होगा। राष्ट्रपति दोनों सदनों के संयुक्त अधिवेशन को सम्बोधित करेंगी। इसके बाद 16 मार्च को वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी आम बजट पेश करेंगे, जबकि रेल मंत्री दिनेश त्रिवेदी 14 मार्च को रेल बजट पेश करेंगे। आर्थिक समीक्षा 15 मार्च को संसद में पेश की जाएगी।
बंसल ने कहा, “हम राष्ट्रपति से 12 मार्च को बजट सत्र शुरू करने और इसके 30 मार्च तक चलने की औपचारिक अनुशंसा करेंगे।” उन्होंने बताया कि तीन सप्ताह के अंतराल के बाद बजट सत्र एक बार फिर 24 अप्रैल को शुरू होगा। सत्र की दूसरी अवधि 22 मई को समाप्त होगी।
बता दें कि बजट सत्र आम तौर पर फरवरी के तीसरे सप्ताह में शुरू होता है। लेकिन इस बार उत्तर प्रदेश सहित पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव के कारण इसमें देरी हुई। आचार संहिता 9 मार्च को चुनावी प्रक्रिया पूरी होने तक प्रभावी रहेगी।
वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी के सामने इस बार बड़ी चुनौतियां हैं। वे ऐसे समय में बजट पेश करने जा रहे हैं जब आर्थिक विकास दर में गिरावट आ चुकी है और राजकोषीय घाटा भी बढ़ा है। केंद्रीय सांख्यिकी संगठन (सीएसओ) की तरफ से मंगलवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, 31 मार्च 2012 को समाप्त हो रहे वित्त वर्ष 2011-12 के दौरान सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर घटकर 6.9 फीसदी पर आ सकती है, जबकि पिछले साल यह 8.4 फीसदी थी। पिछले साल फरवरी में वित्त वर्ष 2011-12 के लिए बजट पेश करते हुए केंद्रीय वित्त मंत्री ने आर्थिक विकास दर का लक्ष्य नौ फीसदी निर्धारित किया था।