केंद्र सरकार के पास उन 50 बड़े कर चोरों की सूची है जिन्होंने जर्मनी के लीचटेंस्टाइन शहर के एलजीटी बैंक में अपना काला धन रखा हुआ है। जर्मन सरकार ने पिछले साल अप्रैल में भी यह सूची भारत सरकार को दे दी है। सरकार चाहें तो इस सूची में शामिल नाम सार्वजनिक कर सकती है, लेकिन कर नहीं रही है। अमेरिकी सरकार भी अपने नागरिकों की ऐसी सूची जर्मनी से हासिल कर चुकी है और दोषी कर-चोरों पर दंड लगाकर 1000 करोड़ रुपए से ज्यादा रकम वसूल चुकी है। लीचटेंस्टाइन दुनिया की उन चंद जगहों में शामिल हैं जिन्हें टैक्स-हैवेन माना जाता है।
2010-05-27
भारत में ऐसा करने की हिम्मत किसकी होगी. नेताओं की, उद्योगपतियों की या फिर अफसरों की जो स्वयं ही….