शेयर बाज़ार में डिमांड-सप्लाई का सारा खेल, इसका सारा संतुलन बहुत-बहत धनवान लोगों (हाई नेटवर्थ इंडीविजुल्स या एचएनआई), बैंकों, म्यूचुअल फंडों व बीमा कंपनियों जैसी देशी संस्थाओं और विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) की सक्रियता से तय होता है। छोटी व मध्यम कंपनियों के शेयरों के उतार-चढ़ाव में एचएनआई निर्णायक होते हैं, जबकि बड़ी कंपनियों के शेयरों की दशा-दिशा देशी व विदेशी निवेशक संस्थाएं (डीआईआई व एफआईआई) तय करती हैं। इसलिए अगर शेयर बाज़ार में डिमांड-सप्लाई के नियम को काम करते देखना-समझना है तो हमें एचएनआई, डीआईआई व एफआईआई की खरीद-फरोख्त को देखना होगा जो नज़र वालों को चार्ट पर दिख जाता है। यहां और कोई टिप्स नहीं चलती। अब शुक्रवार का अभ्यास…
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