नए साल के पहले दिन, 1 जनवरी 2012 को देश में 1.11 करोड़ ऐसे मतदाता बनाए गए हैं जिनकी उम्र 18 से 19 वर्ष है। निर्वाचन आयोग का कहना है कि यह पूरी दुनिया में किसी जगह एक दिन में युवाओं के सबसे बड़े सशक्तीकरण को लक्षित करता है। इस साल यह संख्या दोगने से भी अधिक है। पिछले साल 52 लाख युवा मतदाता बनाए गए थे, जिन्होंने 18 वर्ष की आयु पा ली थी। यह मतदाता बनने की न्यूनतम उम्र है। नए साल में अभी तक देश भर में लगभग 3.83 करोड़ नए मतदाताओं का पंजीकरण किया गया है।
निर्वाचन आयोग ने राष्ट्रीय मतदाता दिवस के मौके की पूर्व संध्या पर यह जानकारी दी है। देश में राष्ट्रीय मतदाता दिवस 25 जनवरी को मनाया जाता है और इसकी शुरुआत एक साल पहले से हुई है। यह निर्वाचन आयोग का स्थापना दिवस भी है। बुधवार को दूसरे राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर राजधानी दिल्ली में आयोजित समारोह की अध्यक्षता पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम करेंगे और दिल्ली के नए व पंजीकृत 20 मतदाताओं को सचित्र मतदाता पहचान पत्र प्रदान करेंगे।
राष्ट्रीय मतदाता दिवस के पीछे निर्वाचन आयोग का उद्देश्य अधिक मतदाता, विशेष रूप से नए मतदाता बनाना है। इस दिवस को मतदाताओं को मतदान प्रक्रिया में कारगर भागीदारी के बारे में जागरूक बनाने के लिए भी इस्तेमाल किया जाएगा।
राष्ट्रीय मतदाता दिवस के लक्ष्य को ध्यान में रखते हुए नए योग्य मतदाताओं तक पहुंचने और पहली जनवरी 2012 को किए गए मतदाताओं की संशोधित सूचियों में उन्हें पंजीकृत करने के लिए देश भर में एक विशेष अभियान चलाया गया है। सभी राज्यों और संघशासित प्रदेशों के मुख्य निर्वाचन अधिकारियों को आयोग ने निर्देश दिए हैं कि 18 वर्ष की आयु प्राप्त करनेवाले हर युवा को मतदाता बनाया जाए।