टिनप्लेट कंपनी ऑफ इंडिया लिमिटेड (टीसीआईएल) टाटा समूह की कंपनी है। देश में टिन कोटेड व टिन फ्री स्टील शीट की सबसे बड़ी उत्पादक है। घरेलू बाजार में इसकी हिस्सेदारी 35-40 फीसदी है। कंपनी अपना 20-25 फीसदी उत्पादन निर्यात करती है। कोलकाता में इसका मुख्यालय है। फैक्ट्री जमशेदपुर में है। 85 साल पुरानी नामी कंपनी है। कल बीएसई में इसके शेयरों में जबरदस्त कारोबार हुआ 8.35 लाख शेयरों का, जबकि पिछले दो हफ्ते में औसत कारोबार 1.37 लाख शेयरों का ही होता रहा है। 10 रुपए अंकित मूल्य का शेयर 6.82 फीसदी की बढ़त के साथ 76.80 रुपए पर बंद हुआ है। एनएसई में इसके 8.98 लाख शेयरों में कारोबार हुआ और यह 6.56 फीसदी बढ़कर 76.40 रुपए पर बंद हुआ है।
सबसे आकर्षक बात यह है कि वित्त वर्ष 2009-10 में 793.15 करोड़ रुपए की आय पर 67.15 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ कमाया है और उसका ईपीएस (प्रति शेयर लाभ) इस समय 11.01 रुपए है। इस आधार पर उसके शेयर का पी/ई अनुपात अभी महज 4.37 है। इसलिए इसे फिलहाल काफी सस्ता शेयर माना जाएगा। इसकी बुक वैल्यू 42.94 रुपए है। यानी, शेयर मूल्य बुक वैल्यू का 1.78 गुना है। कंपनी के परिचालन लाभ मार्जिन और शुद्ध लाभ मार्जिन दोनों में इस साल इजाफा हुआ है। उसका लाभांश देने का रिकॉर्ड भी दुरुस्त है। इस शेयर का 52 हफ्ते का उच्चतम स्तर 95.90 रुपए (15 जनवरी 2010) और न्यूनतम स्तर 31.04 रुपए (13 जुलाई 2009) का रहा है। मुझे तो यह शेयर निवेश के लिए काफी माफिक लगता है।
बाकी हाल यह है कि जिन लोगों ने हमारे कहने पर स्टील स्ट्रिप्स इंफ्रा का शेयर 20 अप्रैल को खरीदा होगा, वे थोड़े दुखी होंगे क्योंकि उस दिन इसका भाव 16.53 से 5 फीसदी बढ़कर 17.35 रुपए पर चला गया था और इस पर सर्किट ब्रेकर लग गया था। कल 9 जून को फिर इस पर सर्किट ब्रेकर लगा। फिर भी बंद भाव था 13.23 रुपए। यानी करीब 20 फीसदी का घाटा। लेकिन इस शेयर को पहले ले रखा हो तो अभी बेचें नहीं, बल्कि और खरीद लें। कारण, हरियाणा में इसके पास काफी जमीन है, जिसे रिलायंस इंडस्स्ट्रीज अपने एसईजेड के लिए खरीदनेवाली है। इसलिए अगले 12 महीनों तक इसमें निवेश बनाए रखें। पूरी संभावना है कि इसका भाव तीन अंकों में पहुंच जाएगा। इसके अलावा एलनेट टेक्नोलॉजीज और श्राडेर डंकन में कल भी शायद अच्छी बढ़त देखने को मिले।