रिजर्व बैंक के अनुसार भारत के ऊपर चढ़ा विदेशी ऋण मार्च 2022 के अंत तक 620.70 अरब डॉलर था। यह साल भर में 47.10 अरब डॉलर बढ़ा है। वहीं, देश का विदेशी मुद्रा भंडार पिछले दस महीनों में 70 अरब डॉलर घटकर 572.71 अरब डॉलर रह गया है, विदेशी ऋण से 48 अरब डॉलर कम। कुल विदेशी ऋण में से 499 अरब डॉलर लम्बी अवधि का है, जबकि छोटी अवधि या एक साल तक का ऋण 121 अरब डॉलर है। दिक्कत यह है कि भारत का लम्बी अवधि का विदेशी ऋण साल भर पहले से 5.6% बढ़ा है, जबकि छोटी अवधि का ऋण 20% बढ़ा है। इसी 7 जुलाई को प्रमुख आर्थिक अखबार इकनॉमिक्स टाइम्स ने खबर चला दी कि देश को 268 अरब डॉलर का ऋण अगले नौ महीने में लौटाना है जो हमारे विदेशी मुद्रा भंडार का लगभग 47% है। अब मंगलवार की दृष्टि…
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