लड़ाई आधी जीत ली गई है क्योंकि तेजड़िए निफ्टी को 4787.25 तक ले जाकर 4779 अंक पर बंद करने में कामयाब रहे। यह शुक्रवार के उस 4777 अंक से थोड़ा ऊपर है जहां से बाजार ने रुख पलटा था। प्रतिरोध का अगला स्तर 4850 का है। अगर तेजड़िए बाजार को 4850 से ऊपर ले जाने में कामयाब रहे तो तय मानिए कि निफ्टी 5000 के आसपास या 5080 तक भी जा सकता है। लेकिन तेजी का यह रुझान 30 तारीख तक ही रहना है। 4735 पर स्टॉप लॉस शुरू हो सकता है। बाजार अब भी बहुत ज्यादा ओवरसोल्ड अवस्था में है। शुक्र इस बात का है कि आज 4820 पर मंदड़ियों के स्टॉप लॉस की नौबत नहीं आई। इसका मतलब वे अपनी शॉर्ट पोजिशन आगे ले गए हैं।
आईएफसीआई आज का स्टार परफॉर्मर रहा। पिछले हफ्ते यह नीचे में 20 रुपए तक चला गया है। वहां से तेजी से पलटकर आज 23.70 रुपए पर आ गया। बढ़त की यह दर दो हफ्ते पहले की उस गिरावट से काफी ज्यादा है जब कंपनी के प्रमुख अतुल राय की नियुक्ति में अनियमितता की खबर सामने आई थी। इसका मतलब यह कि इस स्टॉक में कुछ दिलचस्प विकासक्रम चल रहा है। मुझे कुछ लोगों ने बताया है कि श्री राय की जगह कोई तगड़ा शख्स आ रहा है। इस शख्स का नाम ही इस सरकारी कंपनी के स्टॉक में फौरन नई जान डाल देगा और यह अपनी बुक वैल्यू (50 रुपए) से ऊपर पहुंच जाएगा।
खैर, परसों रिलांयस इंडस्ट्रीज (आरआईएल) समूह के लिए बड़ा खास दिन है और शेयर के भाव इस दिन का सम्मान खास अंदाज में कर सकते हैं। 29 दिसंबर सेटलमेंट का दिन है जिस पर शॉर्ट सौदे लदे पड़े हैं, जबकि 30 दिसंबर एनएवी का दिन है। इसलिए इस हफ्ते बाजार में भरपूर सक्रियता रहेगी।
यह भी नोट करने लायक है कि साल का आखिरी हफ्ता होने के कारण एफआईआई बाजार से गायब रहेंगे। इसलिए चाबुक फिलहाल पूरी तरफ ऑपरेटरों के हाथ में आ गया है। इसलिए शॉर्ट सेलिंग करते वक्त सावधान रहें। जिन्होंने भी निफ्टी में 4000, 4200, 4300 व 4500 के पुट ऑप्शन ले रखे हैं, उन्हें अपना धन वापस पाने की उम्मीद छोड़ देनी चाहिए।
बी ग्रुप के कुछ स्टॉक्स में काफी संभावना दिख रही है। इन स्टॉक्स में अगर यूं ही सक्रियता बनी रहती है तो हम मान सकते हैं कि बाजार का सबसे बुरा वक्त अब बीत गया।
दो इंसानों का मिलना दो रसायनों के मिलने जैसा है। अगर उनमें कोई प्रतिक्रिया हो गई तो दोनों ही अपना रूप बदलकर नए रूप में ढल सकते हैं।
(चमत्कार चक्री एक अनाम शख्सियत है। वह बाजार की रग-रग से वाकिफ है। लेकिन फालतू के कानूनी लफड़ों में नहीं पड़ना चाहता। इसलिए अनाम है। वह अंदर की बातें आपके सामने रखता है। लेकिन उसमें बड़बोलापन हो सकता है। आपके निवेश फैसलों के लिए अर्थकाम किसी भी हाल में जिम्मेदार नहीं होगा। यह मूलत: सीएनआई रिसर्च का कॉलम है, जिसे हम यहां आपकी शिक्षा के लिए पेश कर रहे हैं)