अमेरिकी बाजारों की गिरावट और हंगरी के संकट के बावजूद अगर बाजार (बीएसई सेंसेक्स) 431 अंक तक गिर गया और बंद हुआ करीब 337 अंक की गिरावट के साथ तो इसमें बहुत परेशान होने की बात नहीं है। एनएसई निफ्टी में इसी तरह का करेक्शन आया है। ध्यान दें कि ऐसे हर करेक्शन के बाद बाजार ने वापसी की है और एनएसई निफ्टी पूरी दृढ़ता के साथ 5000 और 5100 का स्तर पार कर गया है। आजऔरऔर भी

जी-20 के सम्मेलन तक में दुनिया भारत की ओर देख रही है। अमेरिकी राष्ट्रपति को लगा कि अब भारत के साथ रिश्ते मधुर बनाने का वक्त आ गया है क्योंकि भारत जिस रफ्तार से विकास कर रहा है, उससे वह एक दिन सारी दुनिया का चहेता बन जाएगा और विश्व अर्थव्यवस्था को मंदी से बाहर निकाल सकता है। यह भी बड़ी विचित्र बात है कि निवेशक और ट्रेडर बड़ी आसानी से चीन को किनारे कर रहे हैं।औरऔर भी

अमेरिका में कंपनियों के नतीजे आने का दौर बीत गया और एस एंड पी इंडेक्स में शामिल कंपनियों की आय 17 फीसदी बढ़ी है, जबकि उम्मीद 14 फीसदी की ही थी। वहां बेरोजगारी की दर घटना शुरू हो गई है और हाउसिंग क्षेत्र में मांग बढ़ रही है। इस तरह अमेरिकी अर्थव्यवस्था उठान पर है और ग्रीस का संकट अमेरिका को आगे बढ़ने में मददगार होगा। भारतीय कंपनियों की भी आय अभी तक उम्मीद से बेहतर रहीऔरऔर भी

टाटा स्टील सोमवार को बीएसई में 536.20 रुपए और एनएसई में 536.35 रुपए पर बंद हुआ है। उसका टीटीएम ईपीएस या पिछले 12 महीनों की प्रति शेयर कमाई 48.96 रुपए है। इस आधार इस शेयर का मौजूदा पी/ई अनुपात 10.95 है। हालांकि बीएसई इसका पी/ई अनुपात 9.89 ही बताता है। दूसरी तरफ स्टील उद्योग की अन्य प्रमुख कंपनियों, स्टील अथॉरिटी का पी/ई अनुपात 14.08 और जेएसडब्ल्यू स्टील का 11.01 है। केवल इसी आधार पर देखें तो टाटाऔरऔर भी

मेरा आपको सुझाव है कि कुछ समय निकालें और कंपनी व बाजार के बारे में उपलब्ध कराई जा रही रिसर्च का अध्ययन करें। जैसे, आज हम इस कॉलम के अंत में कावेरी टेलिकॉम की रिसर्च रिपोर्ट पेश कर रहे हैं। हम इस तरह की विशेष जानकारियां उपलब्ध कराते रहते हैं। इनके अध्ययन से भारत के साथ-साथ दुनिया के बाजारों के बर्ताव को लेकर आपके जो भ्रम हैं, उनमें से ज्यादातर दूर हो सकते हैं। अगर फिर भीऔरऔर भी

शुक्रवार को नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी सूचकांक 5000 का स्तर छूने के बाद आखिरी दस मिनट में 4950 से नीचे आ गया। यह वो स्तर था जहां मंदी की फितरत वाले कारोबारियों या मंदड़ियों को काफी हद तक यकीन था कि बिक्री के करार के सौदों को पूरा करने के लिए उन्हें खरीद की जरूरत नहीं है यानी वे शॉर्ट रह सकते हैं। महज एक मजा हुआ चालाक खिलाड़ी ऐसा था जो 4950 के ऊपर भीऔरऔर भी