गंगा नगर से ईटा नगर और लेह से लक्षद्वीप तक छोटे-बडे सभी व्यापारी व कारोबारी परेशान हैं। प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी जिस माल व सेवा कर या जीएसटी को ‘गुड्स एंड सर्विसेज़ टैक्स’ की जगह ‘गुड एंड सिम्पल टैक्स’ बता रहे हैं, व्यापारी तबका उसे ‘गड़बड़ सड़बड़ टैक्स’ कह रहा है। दोनों में से सही कौन है? इसके जवाब में धूमिल की सीख याद आती है कि लोहे का स्वाद लोहार से मत पूछो, उस घोड़े से पूछो जिसके मुंहऔरऔर भी

सुप्रीम कोर्ट ने देश में दवाओं के अवैध क्लीनिकल परीक्षण पर चिंता जताई है और सरकार से इसे रोकने के लिए कदम उठाने को कहा है। कोर्ट में जस्टिस आर एम लोढ़ा और एच एस गोखले की खंडपीठ ने सोमवार को अपनी टिप्पणी में कहा, “यह बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है। सरकार को इसे ठीक करने के उपाय करने होंगे।” पीठ ने केन्द्र सरकार और भारतीय चिकित्सा परिषद (एमसीआई) से इस मामले में छह सप्ताह के भीतर अपनाऔरऔर भी

राष्‍ट्रीय स्‍वास्‍थ्‍य बीमा योजना के तहत जारी स्मार्ट कार्डों की संख्या 31 दिसंबर 2011 तक 2.57 करोड़ पर पहुंच चुकी है। इससे 29.25 लाख से ज्‍यादा लोग अस्‍पताल में भर्ती होने की सुविधा ले चुके थे। इस योजना को गरीबी रेखा से नीचे के परिवारों के लिए अक्‍टूबर 2007 को शुरू किया गया था और अप्रैल 2008 से अमल में लाया गया। इसमें सालाना प्रीमियम का 75% भारत सरकार देती है, जबकि 25% राज्य सरकारें देती हैं।औरऔर भी

देश का राजकोषीय घाटा चालू वित्त वर्ष 2011-12 में सितंबर तक के छह महीनों में ही पूरे साल के बजट अनुमान का लगभग 71 फीसदी हो चुका है, जबकि पिछले वित्त वर्ष 2010-11 की पहली छमाही में यह बजट अनुमान का 34.9 फीसदी ही था। वित्त मंत्रालय के ताजा आंकड़ों के अनुसार राजकोषीय घाटा अप्रैल-सितंबर 2011 के बीच 1.92 लाख करोड़ रुपए रहा है, जबकि पूरे वित्त वर्ष का बजट लक्ष्य 4.13 लाख करोड़ रुपए रखा गयाऔरऔर भी

लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली (टीपीडीएस) को चलाना केंद्र, राज्‍य व संघीय क्षेत्रों की सरकारों की संयुक्‍त जिम्‍मेदारी है। लेकिन खुद केंद्र सरकार का कोई इरादा उचित दर की दुकानें खोलने का नहीं है। यह कहना है कि उपभोक्‍ता मामलात, खाद्य और सार्वजनिक वितरण के राज्‍यमंत्री के वी थॉमस का। उन्होंने सोमवार को राज्‍यसभा में एक प्रश्‍न के लिखित उत्‍तर में बताया कि टीपीडीएस को उचित दरों की दुकानों के माध्‍यम से चलाया जाता है। उचित दर कीऔरऔर भी

देश के सबसे ज्यादा गरीब 12 राज्यों में से किसी को भी राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (एनआरएलएम) में दिलचस्पी नहीं है। इस मिशन का संचालन केंद्र सरकार विश्व बैंक के साथ मिलकर कर रही है और इसके लिए विश्व बैंक ने 4600 करोड़ रुपए का उधार देने का करार किया है। राज्यों के इस ठंड रवैये की जानकारी केन्‍द्रीय ग्रामीण विकास राज्यमंत्री प्रदीप जैन ने शुक्रवार को लोकसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में दी। उन्होंनेऔरऔर भी

इस साल सरकार के बाजार ऋण का इंतजाम करना काफी मुश्किल होगा। यह कहा है कि सरकार के मुख्य ऋण प्रबंधन रिजर्व बैंक ने अपनी सालाना रिपोर्ट में। गुरुवार को जारी इस रिपोर्ट में रिजर्व बैंक ने कहा है कि अभी तरलता की जैसी कसी हुई हालत है और बैंकों ने जिस तरह तय सीमा से ज्यादा निवेश एसएलआर प्रतिभूतियों (सरकारी बांडों) में कर रखा है, वैसे में सरकार द्वारा वित्त वर्ष 2011-12 के लिए निर्धारित बाजारऔरऔर भी

लोकपाल मसौदा विधेयक के दो संस्करण कैबिनेट को भेजने के सरकार के निर्णय पर ‘आश्चर्य’ जताते हुए गांधीवादी सामाजिक कार्यकर्ता अण्णा हज़ारे ने कहा है कि सख्त लोकपाल कानून बनाने की केन्द्र की कोई मंशा नहीं है। उन्होंने कहा कि अगर कमजोर कानून बना तो वह 16 अगस्त से फिर अनशन करेंगे। गुरुवार को हज़ारे ने कहा कि सरकार ने बीते अप्रैल में लोकपाल मसौदा समिति का गठन कर वादा किया था कि यह समिति ‘आम सहमति’औरऔर भी

अगर कोई व्यक्ति केंद्र से लेकर पंचायत स्तर तक के निकाय द्वारा किए जा रहे सर्वेक्षण में मांगी गई सूचना देने से मना करता है या गलत सूचना देता है तो उसे छह महीने की सामान्य जेल या जुर्माना या दोनों की ही सजा हो सकती है। यह प्रावधान केंद्र सरकार सरकार द्वारा अधिसूचित सांख्‍यिकी संग्रहण अधिनियम, 2008 के अंतर्गत सांख्‍यिकी संग्रहण नियमावली, 2011 में किया गया है। बता दें कि संसद  ने 7 जनवरी, 2009 कोऔरऔर भी

जो बाबा रामदेव शनिवार शाम तक केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्बल के खुलासे के बाद भीगी बिल्ली बने नजर आ रहे थे, वे आधी रात की पुलिस कार्रवाई के बाद अब दहाड़ते शेर बन गए हैं। कांग्रेस और उसके पल्लू में प्रासंगिकता खोजते लालू यादव के अलावा सभी राजनीतिक दल बाबा व उनके समर्थकों पर हुई कार्रवाई को लोकतंत्र पर सांघातिक हमला बता चुके है। अब सुप्रीम कोर्ट ने भी केंद्र सरकार को घेरे में ले लिया है।औरऔर भी