निफ्टी में 5000 का स्तर अपने अंदर हरसंभव नकारात्मकता को सोखे हुए हैं। फिर भी गिरावट से इनकार नहीं किया जा सकता क्योंकि लंबी कूद के लिए कुछ कदम पीछे तो जाना ही पड़ता है। जैसा कि सामने आ चुका है कि निफ्टी में 4800 की सीरीज में जमकर पुट ऑप्शन सौदे हुए है जो दिखाता है कि ज्यादातर मंदड़िए चाहते हैं कि अंततः रुख पलटने से पहले बाजार 4800 तक चला जाए। आज तो मंदड़ियों काऔरऔर भी

बाजार पिछले दिनों दीवाली पर 21,000 अंक तक ऊंचा जाने के बाद से खुद को जमा रहा है। लेकिन कोरिया में ब्याज दरों के बढ़ने और आयरलैंड सरकार के 69 अरब डॉलर के डिफॉल्ट ने रिटेल निवेशकों के बीच कुछ हद तक अनिश्चितता पैदा कर दी है। फिर, राष्ट्रमंडल खेलों के घोटाले, टेलिकॉम घोटाले और आदर्श घोटाले जैसे राजनीतिक मामलों के साथ ही एलआईसी को 14,000 करोड़ रुपए के नुकसान की खबर ने भी निवेशकों के दिमागऔरऔर भी

जैसी कि उम्मीद थी, बाजार (निफ्टी) 6000 से 6100 अंक के बीच डोलता रहा। इस दायरे को काफी सुविधाजनक स्तर माना जा रहा है। बाजार के तमाम खिलाड़ी बैंक निफ्टी में नए सिरे से शॉर्ट हो गए हैं यह मानते हुए कि बैंक निफ्टी ने टेक्निकल एनालिस्टों की भाषा में डोजी कैंडल जैसा कुछ बना रखा है और इसमें 12,400 के बाद कोई उठापटक नहीं होनी है। पुट-कॉल अनुपात (पीसीआर) गलत तस्वीर दिखा रहा है क्योंकि इसमेंऔरऔर भी