सुपर! 17 साल!! 65 बना 5.6!!!

सुपर टैनरी (बीएसई कोड-523842) कानपुर की पुरानी कंपनी है। जूते बनाती है, निर्यात करती है। भारत सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त एक्सपोर्ट हाउस है। इसके बारे में दो खास चौंकानेवाली बातें हैं। एक, इस साल जून की तिमाही में उसकी बिक्री में 72 फीसदी और शुद्ध लाभ में 250 फीसदी वृद्धि हुई है। दो, इसने मार्च 1993 में अपने पब्लिक इश्यू में 10 रुपए का शेयर 55 रुपए प्रीमियम यानी 65 रुपए मूल्य पर जारी किया था, लेकिन इसके शेयर का भाव अभी 5.6 रुपए चल रहा है। सत्रह साल में 65 रुपए का शेयर 5.6 रुपए के शेयर में कैसे बदल गया, जबकि कंपनी लगातार ठीकठाक काम कर रही है? आइए समझते हैं।

कंपनी ने 19 मार्च 2008 को 10 रुपए अंकित मूल्य के शेयर को 2 रुपए अंकित मूल्य के शेयर में बदल दिया। 5 दिसंबर 2008 को उसने अपने शेयरधारकों को एक पर एक बोनस शेयर दिया। इसके बाद 8 फरवरी 2010 को उसने फिर एक पर एक बोनस शेयर दिया। इस तरह पब्लिक इश्यू में मिला एक शेयर पहले पांच शेयर बना, फिर दस और फिर बीस। यानी, सत्रह साल पहले लगाए 65 रुपए आज की तारीख में 112 रुपए हो गए हैं। इसे बहुत अच्छा तो नहीं कहा जा सकता, लेकिन बहुत बुरा भी नहीं माना जाएगा।

अब कंपनी एक बार फिर अपने शेयर को दो रुपए से एक रुपए अंकित मूल्य में बांट रही है। कंपनी का निदेशक बोर्ड इसे मंजूर कर चुका है और 30 सितंबर 2010 को एजीएम (सालाना आमसभा) में पास होने के बाद इसे लागू किया जाएगा। इससे कंपनी की चुकता पूंजी तो 10.8 करोड़ ही रहेगी। लेकिन शेयरों की संख्या 5.4 करोड़ से बढ़कर 10.8 करोड़ हो जाएगी और इसलिए उसका प्रति शेयर लाभ घटकर आधा रह जाएगा। खैर, यह सितंबर के बाद की बात है। इसलिए अभी पहले उसके वर्तमान को देखा जाए।

कंपनी ने वित्त वर्ष 2009-10 में 178.45 करोड़ रुपए की आय पर 4.56 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ कमाया था। चालू साल की जून की तिमाही में उसने 64.32 करोड़ रुपए की आय पर 1.61 करोड़ रुपए का शुद्ध लाभ कमाया है, जबकि जून 2009 की तिमाही में उसकी आय 37.36 करोड़ और शुद्ध लाभ 0.46 करोड़ रुपए था। जाहिर है कि कंपनी ने जबरदस्त वृद्धि हासिल की है। उसके शेयर की बुक वैल्यू 8.94 रुपए और उसका शेयर 1.07 रुपए के टीटीएम (पिछले बारह महीनों के) ईपीएस के 5.22 गुना यानी पीई अनुपात पर ट्रेड हो रहा है। आप खुद ही समझ सकते हैं कि इसे पेनी स्टॉक दिखने के बाद भी चवन्नी छाप नहीं माना जा सकता।

कंपनी के शेयर अभी केवल बीएसई में लिस्टेड हैं। लेकिन कंपनी इन्हें एनएसई में भी लिस्ट कराने की कोशिश में है। उसने 27 फरवरी 2010 को ही इसके लिए आवेदन डाल दिया था। मंजूरी कभी भी मिल सकती है। यह 1953 में बनी कंपनी है। उसके पास फिनिश्ड लेदर, शू अपर, पूरे जूते और लेदर गारमेंट बनाने के अलग डिवीजन हैं। वह अपना सारा माल यूरोप, अमेरिका, कनाडा, हांगकांग और सिंगापुर जैसे देशों को निर्यात करती है। सुरक्षा के लिए उसने अमेरिकी की एच ब्राउन शू कंपनी ने पूरे बायबैक का समझौता कर रखा है।

1988 में सुप्रीम कोर्ट ने कानपुर में गंगा के किनारे जाजमऊ में बनी तमाम टैनरियों को बंद करने का आदेश दिया था। लेकिन कोर्ट ने सुपर टैनरी को एफ्यूलिएंट ट्रीटमेंट प्लांट लगाने के कारण इस आदेश से बाहर रखा था। कंपनी इस समय केंद्रीय वाणिज्य व उद्योग मंत्रालय के सहयोग से अपनी टैनरी इकाइयों में आधुनिकीकरण स्कीम चला रही है। कंपनी के प्रबंध निदेशक इफ्तिक़ारुल अमीन हैं। कंपनी की इक्विटी में प्रवर्तकों की हिस्सेदारी 58.77 फीसदी है, जबकि 3.85 फीसदी शेयर घरेलू निवेशक संस्थाओं (डीआईआई) के पास हैं और एफआईआई के पास बहुत मामूली शेयर हैं।

आखिर में कुछ फुटकर लेकिन सॉलिड सूचनाएं। राज ऑयल मिल्स (बीएसई कोड – 533093, एनएसई कोड – RAJOIL) कल थोड़ी गिरावट के साथ 51.15 रुपए पर बंद हुआ है। लेकिन कुछ ऑपरेटरो के मुताबिक आज इसमें धमाका हो सकता है। वैसे भी कंपनी का टीटीएम ईपीएस 10.69 रुपए है और उसका शेयर महज 4.79 के पीई अनुपात पर ट्रेड हो रहा है। उसके शेयर की बुक वैल्यू ही 66.03 रुपए है।

बाकी, धामपुर स्पेशियलिटी (531923) में धमाका जारी रहेगा। यह अभी 30 के आसपास है, लेकिन अगले हफ्ते मंगल-बुध तक 55 रुपए तक जा सकता है। कंपनी की जमीन को अलग करना इसकी प्रमुख वजह होगी। एल एन मित्तल रामसरूप इंडस्ट्रीज (बीएसई कोड – 532690, एनएसई कोड – RAMSARUP ) के साथ 1000 करोड़ रुपए की डील पर हस्ताक्षर कर चुके हैं। घोषणा अगले हफ्ते हो सकती है। एसएनएल बियरिंग्स अभी केवल 8 पीई अनुपात पर ट्रेड हो रहा है, जबकि उद्योग का पीई 20 चल रहा है। यह शेयर अभी 78 रुपए पर है, लेकिन जल्दी ही 200 रुपए तक जा सकता है।

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