बीजेपी के वरिष्ठ नेता और संसद की लोक लेखा समिति (पीएसी) के अध्यक्ष मुरली मनोहर जोशी ने दूरसंचार मंत्री कपिल सिब्बल द्वारा 2जी स्पेक्ट्रम आवंटन घोटाले पर कैग की रिपोर्ट को गलत बताने की कड़ी आलोचना की है। उन्होंने शनिवार को कहा कि यह ‘अनुचित’ है और उनके ‘लापरवाही से भरे’ दृष्टिकोण को दर्शाता है।
जोशी ने कहा कि दूरसंचार सचिव आर चंद्रशेखर पीएसी के समक्ष उपस्थित हुए, लेकिन कभी भी कैग (सीएजी) के स्पेक्ट्रम आवंटन में 1.76 लाख करोड़ रूपए के संभावित नुकसान के अनुमानों पर सवाल नहीं उठाया। उन्होंने कहा, ‘‘मेरा मानना है कि यह पूरी तरह से अनुचित है। कैग ने कभी भी यह नहीं कहा था कि यह ठीक-ठीक धनराशि है। सिब्बल को ध्यानपूर्वक यह रिपोर्ट पढ़नी चाहिए।’’ इससे पहले सिब्बल ने कहा था कि संभावित नुकसान को लेकर कैग की रिपोर्ट ‘गलत’ है।
जोशी ने ध्यान दिलाया कि कैग ने हमेशा से ही यह कहा है कि नुकसान के आंकड़े अनुमानित हैं। कैग ने यह कभी नहीं कहा कि 1.76 लाख करोड़ का आंकड़ा अंतिम है। उन्होंने कहा कि कैग ने अपनी रिपोर्ट में सरकारी खजाने को हुए संभावित नुकसान की तीन सीमाएं बताई हैं और सिब्बल की आलोचना उनके लापरवाही भरे रवैये को दर्शाती है।
जोशी ने कहा, ‘‘यह एक मंत्री के लिए ठीक नहीं होगा कि वह ऐसी बात कहे जबकि रिपोर्ट पर पीएसी की जांच जारी है। वह जो कुछ भी कहना चाहते हैं इसके लिए उनके सचिव आ सकते हैं और पीएसी के समक्ष अपनी बात रख सकते हैं।”