खाद्य वस्तुओं की मार से बढ़ेंगे 6.4 करोड़ गरीब

एशियाई विकास बैंक (एडीबी) ने कहा है कि खाद्य वस्तुओं की कीमत में वृद्धि से एशियाई देशों के 6.4 करोड़ अतिरिक्त लोग गरीबी रेखा के नीचे जा सकते हैं। इस साल अब तक एशिया के कई देशों में खाद्य वस्तुओं की कीमत में औसतन 10 फीसदी की वृद्धि हुई है।

‘ग्लोबल फूड प्राइस इनफ्लेशन एंड डेवलपिंग एशिया’ शीर्षक से जारी एडीबी की रिपोर्ट में कहा गया है कि घरेलू खाद्य वस्तुओं की कीमत में 10 फीसदी की वृद्धि से 3.3 अरब की आबादी वाले इस महाद्वीप के करीब 6.4 करोड़ अतिरिक्त लोग गरीबी रेखा के नीचे जा सकते हैं। गरीबी रेखा का आधार 1.25 डॉलर प्रतिदिन आय को माना गया है।

एडीबी के मुख्य अर्थशास्त्री चैंगयोंग री ने कहा, ‘‘एशिया के विकासशील देशों में वैसे गरीब परिवार जो अपनी आय का 60 फीसदी हिस्सा खाने-पीने पर खर्च करते हैं, उनकी स्थिति खाद्य वस्तुओं की कीमत बढ़ने से और बिगड़ सकती है। इससे उनकी स्वास्थ्य और बच्चों की शिक्षा पर खर्च करने की क्षमता घटेगी।

रिपोर्ट में कहा गया है कि कच्चे तेल की कीमत के 31 माह के उच्च स्तर पर पहुंचने के साथ पिछले साल के मध्य से कई खाद्य वस्तुओं की कीमत बढ़ी है। यह पूरे एशिया क्षेत्र के लिए झटका है जो वैश्विक आर्थिक संकट से तेजी से उबरा है। एडीबी की रिपोर्ट के मुताबिक 2011 की शुरूआत में वैश्विक खाद्य वस्तुओं की जो कीमत बढ़ी है, वह अगर शेष अवधि में बनी रही तो क्षेत्र की आर्थिक वृद्धि दर में 1.5 फीसदी तक की कमी हो सकती है।

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